Saturday, July 27, 2024
spot_img
Homeउत्तराखंडहोलिका दहन पर लग रहा भद्रा, बस इतने समय के लिए ही...

होलिका दहन पर लग रहा भद्रा, बस इतने समय के लिए ही है शुभ मुहूर्त, जानें वजह – RAIBAR PAHAD KA


शेयर करें

देहरादून। धार्मिक-सामाजिक एकता व रंगों का त्योहार होली पर होलिका दहन को लेकर शहर के चौराह, गली-मोहल्लों में लकड़ियों से होली सजाने लगी है। रविवार को होलिका दहन होगा। भद्रा के कारण इस बार होलिका दहन के लिए एक घंटा 14 मिनट का समय रहेगा। वहीं, रंगोत्सव सोमवार को मनाया जाएगा। इसके लिए इन दिनों तैयारी जारों पर चल रही है।

बता दें कि फाल्गुन मास के शुल्क पक्ष की पूर्णिमा की रात को होलिका दहन किया जाता है। हिंदू धर्म के अनुसार होलिका दहन को बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक माना गया है। इस बार फाल्गुन पूर्णिमा तिथि रविवार सुबह नौ बजकर 54 मिनट से सोमवार दोपहर 12 बजकर 29 मिनट तक रहेगी ज्योतिषाचार्यों की मानें तो इस बार होलिका दहन के दिन भ्रदा का साया रहेगा, जो सुबह नौ बजकर 54 मिनट से रात 11 बजकर 13 मिनट तक रहेगा। ऐसे में होलिका दहन का मूहुर्त रात 11 बजकर 13 मिनट से 12 बजकर 27 मिनट तक रहेगा।

इस तरह करें पूजा

  • स्नान के बाद होलिका की पूजा वाले स्थान पर उत्तर अथवा पूरब दिशा की ओर मुंह करके बैठ जाएं।
    पूजा करने के लिए गाय के गोबर से होलिका व प्रह्लाद की प्रतिमा बनाएं।
  • पूजा की सामग्री के लिए रोली, फूल, फूलों की माला, कच्चा सूत, गुड़, साबुत हल्दी, मूंग, बताशे, गुलाल, नारियल, पांच से सात तरह के अनाज व एक लोटे में पानी रख लें।
  • इन सभी पूजन सामग्री के साथ पूरे विधि-विधान से पूजा करें।
    मिठाइयां व फल चढ़ाएं।
  • होलिका के साथ ही भगवान नृसिंह की भी पूजा करें।
  • होलिका के चारों ओर सात बार परिक्रमा करें।

यह है मान्यता

होलिका दहन शरद ऋतु की समाप्ति व वसंत के आगमन पर किया जाता है। इसके अलावा मान्यता है कि हिरण्यकश्यप ने बहन होलिका को आदेश दिया था कि वह प्रह्लाद को गोद में लेकर आग में बैठे। आग में बैठने पर होलिका तो जल गई, लेकिन ईश्वर की भक्ति में लीन प्रह्लाद बच गए। ईश्वर भक्त प्रह्लाद की याद में इस दिन होली जलाई जाती है।

About Post Author



Post Views:
10

RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Most Popular

Recent Comments